Indian Maharajas : इस अय्याश महाराज के क्या ही कहने रखी थीं 365 रानियां, मर्दानगी बढ़ाने के लिए रानियों को पीरियड्स में खुले बाल करवाते थे ये काम…
भारत सदियों से राजा-रजवाड़ों का देश रहा है। तभी तो भारत में एक से बढ़कर एक बादशाह, शहंशाह और राजा हुए हैं। भारत के हर बादशाह, शहंशाह और राजा का अपना इतिहास भी रहा है। मालूम हो कि इन सभी राजा महाराजाओं को ऐसे-ऐसे शाही शौक थे कि जिसे सुनने वाले लोग दांतों तले अंगुली दबा के रखते हैं। मालूम हो कि ऐसा ही एक शौक इन सभी बादशाह, शहंशाह और राजा-महाराजा को भी था जो कि अपने हरम में रानियां और दासियां रखना। वैसे तो मुगल बादशाहों के शाही हरम में हजारों औरतें रहती थी और मुगल के शाही हरम काफी चर्चित भी हुआ करते थे। लेकिन मुगलों बादशाहों के अलावा ऐसा नहीं है कि किसी ने हरम नहीं बनवाए बल्कि भारतीय राजा महाराजाओं ने तो हर सीमा ही पार करके हरम बनवा रखे रहे।
ऐसे ही एक भारत के चर्चित महाराज थे भूपिंदर सिंह। जिनका शासनकाल 1900 से 1938 तक चला। मालूम हो कि भूपिंदर सिंह ब्रिटिश भारत में पटियाला रियासत के महाराजा थे। भूपिंदर सिंह के बारे में कहा जाता है कि वो 6 फीट 4 इंच लंबे थे और उनका वजन 178 किलो के आसपास था। वहीं भूपिंदर सिंह के बारे में कहा जाता है कि वो काफी रंगीन मिजाज के महाराज थे। भूपिंदर सिंह के बारे में लोग बताते हैं कि उनके हरम में साल में जितने दिन होते हैं उतनी ही रानियां थीं। यानी कि 365 रानियाँ लेकिन इनमें से 10 रानी ही प्रमुख रानियां थीं।
मालूम हो कि महराज भूपिंदर सिंह के इन रानियों से करीब 83 बच्चे थे। वहीं भूपिंदर सिंह के बारे में ये भी चर्चित है कि वो अपने हरम में रहने वाली रानियों के ख्याल रखने में कोई कमी नहीं रखते थे यहाँ तक कि रानियों खूबसूरती बनाये रखने के लिए पूरे देश और दुनिया से एक से बढ़कर एक बेहतरीन मेकअप आर्टिस्ट रखे हुए थे। वहीं दुनिया भर के सबसे अव्वल दर्जे के डॉक्टरों की टीम को रानियों के स्वास्थ्य की देखभाल के लिए महराज ने नियुक्त किया हुआ था।